
फ़िज़ाओं में आई सब बहारों की गुलिस्ता हो तुम
चहरे पर हमारे जो मुस्कान है उसकी वजह हो तुम
इस अंधेरों भरी ज़िन्दगी का उजाला हो तुम
दर्द भरी राह में बस एक मसीहा हो तुम
हर गम हर दर्द की दवा हो तुम
एक अनदेखे अनजाने ख्वाब की हक़ीक़त हो तुम
प्यार की मीठी टकरार हो तुम
मेरी जीत मेरी हार हो तुम
मेरे दिल के सागर का किनारा हो तुम
क्या कहें खुदा से सोचते हैं
हमारे लिए तो खुदा हमारा हो तुम
-दीपाली दभाई
My love you miss you