भोली लड़कीसीधा सादा भोला भाला,मैं हूँ करियर पॉइंट का.अरमान सजाये हैं मन में,पूरा करने को यहाँ खड़ा!!पर वो मेरे अरमानों को,एक पल में डगमगा देती है.मेरा जोश जुनून सब पढ़ने का,वो एक चुटकी में हरा लेती है!!मैं सोचा करता था अकसर,वो शमां तो मैं हूँ परवाना.मैं ही हूँ उसका दीवाना,पर कुछ दिन पहले पता चला,वो हर दिल की है दिलजानाहर कोई उसका दीवाना!!यारों सुन लो उसके कारण,मेरे कई टॉपिक बर्बाद हुए.लिमिट कंटिन्यूयिटी डूब गयी,रिडॉक्स के पत्ते साफ हुये!!सिक्वेन्स सीरीस सब हवा हुई,जी ओ सी मुझसे खफ़ा हुई.के टी जी मुझको सता रही,रोलिंग क्या है कुछ पता नहीं!!यारों टेन्षन मेरी तब बढ़ जाती है,क्लास में जब वो आती है!!अब तुम सोच रहे होगे यारों,कौन है इतनी प्यारीलगती है इतनी न्यारी.चंगुल में जिसके लोकेंद्र जाट है फंसा,किस दलदल में लोकेंद्र जाट है धंसा.तो सुन लो मेरे यारोंतुमको भी तड़पाती होगी,दुनिया कहती है नींद जिसेतुमको भी ना आती होगी!!-लोकेन्द्र सिंग
me pyer karti hu pavan se zitihu
uskeliye ye meri zindagi he uski
ho zo mage ho use dedu
me pyar karti hu pavan seP.
भरतपुर की माटी से आपको होली के पावन पर्व पर लोकेन्द्र सिंह की तरफ से प्यार और दुलार सूचित हो
इस कविता के भाव और राग आपको सूचित हो –
कुछ गीत खुशी के गाने दो ढोलक का ताल मिलाने दो
ऐसे क्यों डरकर भाग रहे थोड़ा तो रंग लगाने दो
पीता तो नहीं; मगर मैं गुझिया-बहुत चाँप कर खाता हूँ
बस बीस-तीस ही खाए हैं,दस-बीस और भी खाने दो
न कसो रेशमी बालों को मत घूँघट आज निकालो तुम
ये महक नशीली भाती है पल्लू अपना लहराने दो
वो नारि कटीली मटक रही आँखों में मेरी खटक रही हैं गाल गुलाब़ी पहले से पीला गुलाल ले आने दो
कुछ खनक हँसी का सुनने दो कुछ नयन मटक्का करने दो
बहकी-बलखाती चालों परबस आज कत्ल हो जाने दो
वह नारी फूलों की क्यारी-देखो छुप-छुप कर भाग रही
छोड़ो; पीछे क्यों जाते हो,शरमाती है शरमाने दो
न -न भाई! शरमाती है-पर नखरे बड़ा दिखाती है
इसको तो आज भिगाऊँगा बस पिचकारी भर लाने दो
लो सराबोर कर डाला तुमने पतली साड़ी भीग गई
ठहरो; मत मारो पिचकारी-आँचल से अंग छुपाने दो
nyc song
i am very happy